डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क
यह उत्पाद छोटे व्यापारियों और छोटे/खुदरा व्यवसायियों के लिए उपयुक्त है जिनका प्रतिदिन का कारोबार काफी कम है और इसका उन्हें डिजिटल भुगतान/निपटान वातावरण में स्थानांतरित करना है। इस प्रकार के खातों में अधिकतम कारोबार डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क रु.40.00 लाख प्रति वर्ष तक सीमित रहेगा। यदि कारोबार रु.40.00 लाख प्रति वर्ष से अधिक है तो खाते को सामान्य चालू खाते में बदल दिया जाएगा।
उत्पाद का नाम
यूनियन माइक्रो डिजिटल चालू खाता (यूएमडीसीए)
पात्रता
कोई भी निवासी व्यक्तिगत-एकल खाता, दो या अधिक व्यक्ति-संयुक्त खाते, एकल स्वामित्व वाली संस्थाएं, साझेदारी फर्म, एचयूएफ यूनियन माइक्रो डिजिटल चालू खाता (यूएमडीसीए) खोलने के लिए पात्र हैं।
वार्षिक कारोबार
अधिकतम कारोबार रु.40.00 लाख प्रति वर्ष। यदि कारोबार रु.40.00 लाख रुपये प्रति वर्ष से अधिक है तो खाते को सामान्य चालू खाते में बदल दिया जाएगा।
औसत मासिक शेष राशि (एएमबी)
प्रति माह मुफ्त नकद जमा सीमा
रु.50000/- की मुफ्त दैनिक सीमा से अधिक रु.1.00 लाख
गैर-आधार शाखा/आधार शाखा में प्रति दिन नि:शुल्क स्व-नकद आहरण सीमा
गैर-आधार शाखाओं में नकद आहरण (स्वयं) रु. 25000/- तक की अनुमति है
आधार शाखा में नकद निकासी के लिए ऐसी कोई डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क सीमा नहीं है।
एटीएम/डेबिट कार्ड का प्रकार
डेबिट कार्ड शुल्क
जारी करने का शुल्क – निशुल्क
वार्षिक रखरखाव शुल्क - लागू शुल्क के अनुसार।
अपने बैंक के एटीएम का उपयोग
5 लेनदेन (वित्तीय + गैर-वित्तीय) प्रति माह निःशुल्क।
दूसरे बैंक के एटीएम का उपयोग
पहले लेनदेन से लागू शुल्क के अनुसार (कोई निःशुल्क लेनदेन नहीं)।
एटीएम नकद निकासी सीमा
रु.25,000/- प्रति दिन
पीओएस सीमा
रु. 50,000/- प्रति दिन
चेक बुक शुल्क
लागू शुल्क के अनुसार
यू-मोबाइल, यूपीआई, भीम, नेट बैंकिंग आदि जैसे डिजिटल चैनलों के माध्यम से जावक प्रेषण शुल्क
शाखा से - डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क लागू प्रभार
इंटरनेट बैंकिंग के माध्यम से रु.50000/- प्रति माह तक कोई शुल्क नहीं। इसके अलावा सामान्य शुल्क लागू होंगे।
शेयर बाजार में निवेश के लिए जरूरी है Demat और Trading Account, जानिए खुलवाने का प्रॉसेस
How to open demat account online डिपॉजिटरी एक बैंक की तरह ही होती है जिसमें सिक्युरिटीज इलेक्ट्रॉनिक रूप में होती हैं। भारत में दो डिपॉजिटरीज हैं। पहली है- डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क नेशनल सिक्युरिटीज डिपॉजिटरी लिमिटेड (NSDL) और दूसरी है- सेंट्रल डिपॉजिटरी सर्विसेज लिमिटेड (CDSL)
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। लॉकडाउन के महीनों के दौरान शेयर बाजार में खुदरा निवेशकों की भागीदारी में काफी तेजी से ग्रोथ देखने को मिली और इन लोगों ने बाजार में इस दौरान भारी मुनाफा भी बनाया। शेयर बाजार में निवेश के लिए डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खुलवाने की जरूर होती है। डीमैट अकाउंट खुलवाना काफी आसान है। आप घर बैठे अपने मोबाइल फोन के माध्यम से मिनटों में अपना डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खुलवा सकते हैं।
पात्रता व आवश्यक दस्तावेज
कोई भी 18 साल की आयु से अधिक का व्यक्ति डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खुलवा सकता है। डीमैट अकाउंट खुलवाने के लिए पैन कार्ड कॉपी, बैंक अकाउंट, आईडी और एड्रेस प्रूफ, कैंसिल चेक, बैंक स्टेटमेंट, इनकम प्रूफ और हस्ताक्षर की कॉपी की जरूरत होती है। इसमें केवाईसी की भी जरूरत होती है।
यह है प्रॉसेस
स्टेप 1. सबसे पहले आपको डिपॉजिटरी पार्टिसिपेंट (DP) चुनना होगा। इसे ही हम ब्रोकर बोलते हैं। यह एक आधिकारिक बैंक या एक वित्तीय संस्थान या ब्रोकर हो सकता है। आप अपनी सुविधा और आश्यकताओं को देखते हुए किसी एक डीपी को डीमैट अकाउंट खुलवाने के लिए चुन सकते हैं।
स्टेप 2. अब आपको चुने गए डिपॉजिटरी पार्टिसिपेंट की वेबसाइट या एप पर जाना होगा और 'ओपन डीमैट अकाउंट' टैब पर क्लिक करना होगा। यहां आपको अपना नाम, मोबाइल नंबर और ई-मेल आईडी जैसी बेसिक जानकारियां दर्ज करनी होगी। कुछ ब्रोकर आधार के माध्यम से भी डीमैट अकाउंट खोलते हैं।
स्टेप 3. अब आपको नेट बैंकिंग या क्रेडिट कार्ड के माध्यम से अकाउंट खुलवाने के लिए लगने वाले शुल्क का भुगतान करना होगा। कुछ ब्रोकर निशुल्क डीमैट अकाउंट खोलने की सुविधा भी देते हैं।
मेंटेनेंस चार्जेज पर दें ध्यान
डीमैट अकाउंट में एक सुविधा शुल्क लगता है। अपना डीमैट अकाउंट शुरू करने से पहले आपको इससे जुड़े शुल्कों के बारे में जानने के लिए दस्तावेज को ध्यान से पढ़ना चाहिए। इन शुल्कों में डीमैट अकाउंट खोलने का शुल्क, मेंटेनेंस शुल्क, ट्रांजेक्शन शुल्क और कस्टोडियन शुल्क आदि शामिल होते हैं। ये शुल्क प्रत्येक ब्रोकर के अलग-अलग होते हैं।
डिपॉजिटरी
डिपॉजिटरी एक बैंक की तरह ही होती है, जिसमें सिक्युरिटीज इलेक्ट्रॉनिक रूप में होती हैं। भारत में दो डिपॉजिटरीज हैं। पहली है- नेशनल सिक्युरिटीज डिपॉजिटरी लिमिटेड (NSDL) और दूसरी है- सेंट्रल डिपॉजिटरी सर्विसेज लिमिटेड (CDSL)। डिपॉजिटरीज एक्ट के तहत निवेशक इन डिपॉजिटरीज की सेवाओं का उपयोग डिपॉजिटरी पार्टिसिपेंट्स के माध्यम से कर डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क सकते हैं।
नॉमिनी
ध्यान रखें कि डीमैट अकाउंट खोलते समय नॉमिनी को एड करना महत्वपूर्ण है। एक बार जब आपके अकाउंट खुलवाने का आवेदन प्रॉसेस हो जाता है, तो आपको एक डीमैट अकाउंट नंबर और क्लाइंट आईडी मिल जाती है। आपका ब्रोकर आपको बीओआई नंबर (Beneficiary Owner Identification Number) प्रदान करता है, जो अकाउंट में आपकी सभी लेनदेन के लिए जरूरी होता है।
SBI YONO पर खोलिये डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट; कम होगा खर्च, सालाना AMC पर भी मिलेगी छूट
SBI Yono Trading Offer: शेयर ट्रे़डिंग के लिए आपके पास Demat Account और Trading Account होना चाहिए. SBI Yono के जरिए इन खातों को खोल रहे हैं तो आपके 1350 रुपये बचेंगे.
एसबीआई योनो के तहत शेयर बाजार में ट्रेडिंग करने वाले निवेशकों के लिए बेहतर ऑफर मिल रहा है. (Image- SBI)
SBI Yono Trading Offer: स्टॉक ट्रे़डिंग के लिए आपके पास Demat Account और Trading Account होना डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क चाहिए. इन दोनों खातों पर शुल्क भी देय होता है लेकिन अगर SBI Yono के जरिए इन खातों को खोल रहे हैं तो आपके 1350 रुपये बचेंगे. अगर आप शेयर बाजार में उतार-चढ़ाव से नहीं घबराते हैं और अपनी पूंजी पर बेहतर रिटर्न निवेश करना चाहते हैं तो इक्विटी में निवेश बेहतर विकल्प हैं. इसके लिए आपको कुछ जरूरी औपचारिकताएं पूरी करनी होती हैं जिसके बिना आप ट्रेडिंग नहीं कर सकते हैं और शेयर्स को होल्ड नहीं कर सकते हैं.
बैंक द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक एसबीआई योनो के जरिए इन दोनों खातों को खोलने पर 1350 रुपये की बचत होगी. इसमें 850 रुपये खाता खोलने का शुल्क नहीं लगेगा. इसके अलावा सालाना डीपी एएमसी (एकाउंट मेंटेनेंस चार्ज) के तहत 500 रुपये का चार्ज पहले साल नहीं चुकाना होगा.
इस तरह खोलें डीमैट और ट्रेडिंग खाता
- योनो की वेबसाइट पर लॉग इन करें.
- Menu पर क्लिक करें.
- Financial Produts के तहत Investments में Securities पर क्लिक करें.
- Link / Open a New Demat & Trading Account पर क्लिक करें.
- Open Demat & Trading Account पर क्लिक करें. इसके बाद दिए गए स्टेप्स को फॉलो कर अपना डीमैट और ट्रेडिंग खाता खोल सकते हैं.
Yono App के जरिए ऐसे खोलें खाता
- ऐप में लॉग इन करें.
- मेन्यू के लिए ऊपर बायीं तरफ बने सिंबल पर क्लिक करें
- एक डॉप मेन्यू खुलेगा. उसमें इंवेस्ट पर क्लिक करें.
- अगले मेन्यू में ‘ओपन डीमैट एंड ट्रेडिंग अकाउंट’ पर क्लिक करें.
- Through SBICap Securities के तहत दिए गए विकल्प ‘ओपन डीमैट एंड ट्रेडिंग अकाउंट’ पर क्लिक करें.
- इसके बाद दिए गए स्टेप्स को फॉलो करें.
क्या होता है डीमैट और ट्रेडिंग खाता
आपने जिन शेयरों या सिक्योरिटीज (बांड्स, ईटीएफ, म्यूचुअल फंड यूनिट्स इत्यादि) में निवेश किया है, उन्हें डिजिटल मोड में डीमैट खाते में रखा जाता है. इसके विपरीत ट्रेडिंग अकाउंट के जरिए ही डीमैट खाते में रखे सिक्योरिटीज की बिक्री की जा सकती है. ट्रेडिंग खाते के जरिए ही स्टॉक एक्सचेंज पर आप शेयरों की खरीद-बिक्री के लिए पोजिशंस ले सकते हैं. ब्रोकरेज फर्म अकाउंट ओपनिंग्स के लिए शुल्क लेती हैं.
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शेयर खरीदने के डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क लिए जरूरी है डीमैट खाता, जानिए कितनी तरह के होते हैं Demat Account
Demat Account: शेयर बाजार में ट्रेडिंग के लिए 3 तरह के डीमैट अकाउंट होते हैं. निवेशकों की प्रोफाइल के हिसाब से इन्हें तैयार किया जाता है. इसकी पूरी देख आपकी ब्रोकिंग फर्म करती है.
शेयर बाजार में एंट्री करने वाले निवेशकों के लिए रेगुलर डीमैट अकाउंट किया जाता है.
Demat Account: शेयर ट्रेडिंग (Share trading) के लिए डीमैट अकाउंट (Demat account) भी होगा. निवेश के लिए डीमैट खाता सबसे आम डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क और अनिवार्य बात है. बिल्कुल बैंक अकाउंट की तरह (जहां पैसे सेफ रखे जाते हैं) डीमैट अकाउंट में भी आपके शेयर इलेक्ट्रॉनिक फॉर्म में रखे जाते हैं. लेकिन, क्या आप जानते हैं कि भारतीय शेयर बाजारों में निवेश के लिए कुल कितने तरह के Demat account होते हैं?
शेयर बाजार में ट्रेडिंग के लिए 3 तरह के डीमैट अकाउंट होते हैं. निवेशकों की प्रोफाइल के हिसाब से इन्हें तैयार किया जाता है. इसकी पूरी देख आपकी ब्रोकिंग फर्म करती है.
रेगुलर डीमैट खाता (Regular Demat account)
शेयर बाजार में एंट्री करने वाले निवेशकों के लिए रेगुलर डीमैट अकाउंट किया जाता है. भारतीय निवेशक और ट्रेडर्स देश में ही रहते हैं और यहीं के शेयर बाजार में निवेश करते हैं. आप ये रेगुलर डीमैट खाता (Demat Account) किसी भी डिपॉजिट्री-CDSL या NSDL पर रजिस्टर्ड ब्रोकर के पास खुलवा सकते हैं. खाते से इलेक्ट्रॉनिकली शेयरों में डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क निवेश और ट्रेड किया जाता है.
रिपाट्राइबल डीमैट अकाउंट (Repatriable Demat account)
रिपाट्राइबल डीमैट अकाउंट्स नॉन-रेजिडेंट इंडियन्स (NRIs) के लिए होते हैं. इसके जरिए NRIs भारतीय शेयर बाजार में निवेश करते हैं. ट्रेडर्स और निवेशक इस अकाउंट के जरिए विदेश में फंड ट्रांसफर भी कर सकते हैं. लेकिन, फंड ट्रांसफर के लिए निवेशकों के पास NRE बैंक खाता भी होना चाहिए. इस खाते में ज्वाइंट होल्डर भी शामिल कर सकते हैं, जिन्हें भारतीय नागरिक होना चाहिए. हालांकि, वे कहां रह रहे हैं उस पर कोई पाबंदी नहीं है. इस डीमैट खाते में भी नॉमिनेशन सुविधा होती है.
रिपाट्राइबल डीमैट खाता (Repatriable Demat Account) खुलवाने के लिए NRIs को पासपोर्ट की एक कॉपी, PAN कार्ड, वीजा, विदेश में अपना पता, पासपोर्ट साइज फोटो और साथ ही में FEMA डिक्लेरशन और NRE या NRO खाते का कैंसल्ड चेक भी देना होगा.
नॉन-रिपाट्रिएबल डीमैट अकाउंट
ये खाता भी NRIs के लिए ही होता है लेकिन इस खाते से विदेश में फंड ट्रांसफर नहीं किए जा सकते. इस खाते के लिए NRO बैंक अकाउंट की जरूरत होती है. ये खाता उनके लिए है जिनकी आय भारत और विदेश दोनों में है. देश के अंदर और विदेश की कमाई को एक साथ मैनेज करने के लिए NRO खाते का इस्तेमाल किया जाता है.
आईसीआईसीआई बैंक ने जमा-निकासी पर 100-125 रुपये का शुल्क लगाया
आईसीआईसीआई बैंक ने जीरो बैलेंस अकाउंट पर शाखाओं में जमा तथा निकासी पर शुल्क लगा दिया है। बैंक ने कहा है कि उसने डिजिटल ट्रांजैक्शंस को बढ़ावा देने के लिए ऐसा किया है।
हाइलाइट्स
- आईसीआईसीआई बैंक ने शाखाओं में जमा तथा निकासी पर लगाया शुल्क
- बैंक ने जीरो बैंलेस अकाउंट पर हर विदड्रॉल पर 100-125 रुपये का शुल्क लगाया
- इसके अलावा बैंक की शाखा में मशीन के जरिये पैसे जमा करने पर भी लगेगा शुल्क
- मोबाइल बैंकिंग या इंटरनेट बैंकिंग के जरिये होने वाले एनईएफटी, आरटीजीएस तथा यूपीआई ट्रांजैक्शंस फ्री
ममता अशोकन, चेन्नै
निजी क्षेत्र के आईसीआईसीआई बैंक ने अपने ग्राहकों को जोरदार झटका दिया है। बैंक के 'जीरो बैलेंस' खाताधारकों को 16 अक्टूबर से शाखा से हर कैश विदड्रॉल के लिए 100 रुपये से 125 रुपये का शुल्क देना होगा। अगर ग्राहक बैंक की शाखा में डीमैट अकाउंट में लगने वाले शुल्क मशीन के जरिये पैसे जमा करते हैं तो इसके लिए भी उन्हें शुल्क अदा करना होगा।
आईसीआईसीआई बैंक ने शुक्रवार रात अपने अकाउंट होल्डर्स को जारी एक नोटिस में कहा, 'हम अपने ग्राहकों को बैंकिंग ट्रांजैक्शंस डिजिटल मोड में करने के लिए उत्साहित करते हैं, जिससे डिजिटल इंडिया इनिशिएटिव को बढ़ावा मिले।'
NEFT, RTGS, UPI पर शुल्क खत्म
बता दें कि बैंक ने मोबाइल बैंकिंग या इंटरनेट बैंकिंग के जरिये होने वाले एनईएफटी, आरटीजीएस तथा यूपीआई ट्रांजैक्शंस पर लगने वाले तमाम तरह के शुल्क को खत्म कर दिया है।
NEFT और RTGS पर भी भारी शुल्क
आईसीआईसीआई बैंक की शाखाओं से 10,000 रुपये से लेकर 10 लाख रुपये तक के एनईएफटी ट्रांजैक्शन पर 2.25 रुपये से लेकर 24.75 रुपये (जीएसटी अतिरिक्त) का चार्ज देना पड़ता है। वहीं, शाखाओं से दो लाख रुपये से लेकर 10 लाख रुपये तक किए जाने वाले आरटीजीएस ट्रांजैक्शन के लिए 20 रुपये से लेकर 45 रुपये (जीएसटी अतिरिक्त) का चार्ज देना पड़ता है।
अकाउंट बंद करने की सलाह
बैंक ने अपने 'जीरो बैलेंस' अकाउंट होल्डर्स से अनुरोध किया है कि वे अपने अकाउंट को या तो किसी अन्य बेसिक सेविंग्स अकाउंट में बदल लें या अकाउंट बंद कर दें।
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